Thursday, January 27, 2022

URDU ~ POETRY__Draft

 

URDU ~ POETRY__Draft










चलो किसी दिन ज़ीस्त से मिलने सब कुछ खोकर यार चलें बेफ़िकरी में बेख़ुद होकर जहाँ से बे परवाह चलें ~


~ ज़ोया गौतम ' निहां ' 

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..namastey!~